कोविड-19 को वैश्विक महामारी घोषित किए एक साल बीता.

WHO Health Emergencies Programme Director Michael Ryan

WHO Health Emergencies Programme Director Michael Ryan Source: AAP

इस सप्ताह विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा कोविड-19 वायरस के संक्रमण को वैश्विक महामारी घोषित किए हुए 1 साल बीत गया है. लेकिन संस्था का कहना है कि अभी भी कोविड का टीका विश्व के सभी देशों में समान रूप से उपलब्ध नहीं है.


इस सप्ताह विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा कोरोना वायरस के संक्रमण को वैश्विक महामारी घोषित किए हुए एक साल हो गया है. लेकिन अभी भी कोरोना वैक्सीन विश्व के सभी देशों में समान रूप से उपलब्ध नहीं है.


मुख्य बातें:

  • विश्व स्वास्थ्य संगठन ने कहा है कि कोविड-19 महामारी को वैश्विक महामारी घोषित किए हुए एक साल का समय बीत गया है लेकिन अभी भी सभी देशों में समान रूप से टीके उपलब्ध नहीं है. 
  • संगठन के मुताबिक दुनिया भर में 70 फीसदी स्वास्थ्यकर्मी महिलाएं हैं. जिससे इस क्षेत्र में लैंगिक असमानता का पता चलता है
  • संगठन ने किसी देश में प्रवेश के लिए वैक्सीन लगने का प्रमाणपत्र दिखाने के विचार को भी गलत बताया है
ये बड़ी अनोखी बात है लेकिन कोरोना वायरस की इस महामारी ने दुनिया में लैंगिक असमानता और ग़ैर-बराबरी को भी उजागर किया है. विश्व स्वास्थ्य संगठन की एक रिपोर्ट के मुताबिक विश्व भर में 70 फीसदी स्वास्थ्यकर्मी महिलाएं हैं.

 उधर विश्व स्वास्थ्य संगठन ने यात्रियों द्वारा कोरोना वायरस वैक्सीन लगाने की सर्टिफिकेट दिखाने के विचार का विरोध किया है क्योंकि ये नैतिक तौर पर ठीक नहीं होगा.

विश्व स्वास्थ्य संगठन के आपात मामलों के मुखिया माइकल रायन किसी देश में प्रवेश के लिए वैक्सीन लगने का प्रमाण दिखाने के प्रति आशंकित हैं वो कहते हैं कि ये एक उचित प्रक्रिया नहीं है.

अमेरिका में अभी भी 90 फीसदी से ज्यादा लोगों को कोविड का टीका नहीं लग पाया है.

यूएस सेंटर फॉर डिज़ीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन से रोशल वॉलेन्सकी का कहना है कि पूरी तरह से टीका पा चुके लोग मास्क के बिना छोटे समूहों में मिल सकते हैं.

कोविड-19 महामारी के खिलाफ़ वर्तमान में स्वास्थ्य और सहायता उपायों को अपनी भाषा में जानने के लिए sbs.com.au/coronavirus. पर जाएं.

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